
दीपक मिश्रा
हरिद्वार, 10 जून। निर्जला एकादशी के अवसर पर प्राचीन हनुमान मंदिर के महंत रविपुरी महाराज के संयोजन में कुशावर्त घाट पर छबील लगाकर श्रद्धालुओं को शर्बत वितरित किया गया। इस अवसर पर मंदिर प्रांगण में उपस्थित श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए मंदिर के महंत रविपुरी महाराज ने कहा कि निर्जला एकादशी व्रत करने से सभी एकादशियों का पुण्य प्राप्त होता है। इस दिन व्रत कथा का भी विशेष महत्व है। व्रत कथा सुनने या पढ़ने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है।
उन्होंने कहा कि निर्जला एकादशी को निराहार व्रत करते हुए द्वादशी को सूर्योदय के बाद स्नान करके ब्राह्मणों को दान देना चाहिए और भोजन कराना चाहिए फिर स्वयं व्रत का पारायण करना चाहिए। इस व्रत को करने से व्यक्ति को मृत्यु के बाद मोक्ष की प्राप्ति होती है। इसलिए इसे भीमसेनी एकादशी या पांडव एकादशी भी कहा जाता है। इस दौरान किशनचंद शर्मा, अंकित पुरी, पुष्पेंद्र शर्मा, नवीन, शशिकांत शर्मा, हिमांशु गुप्ता, मुरारीलाल गुप्ता, श्याम अरोड़ा, पुनीत सलूजा, अंकित पटेल, अमन सोढ़ी, अमन सिंह आदि मौजूद रहे।